व्यापार

गणेश चतुर्थी ने त्योहारी सीजन की बिक्री को दी नई ऊंचाई, अनुमानित व्यापार 25,000 करोड़ से अधिक – कैट

भारतीय व्यापारियों ने चीनी उत्पादों का किया बहिष्कार, भारतीय वस्तुओं की जबरदस्त मांग

गणेश चतुर्थी, जो भारत में एक व्यापक रूप से मनाया जाने वाला हिंदू त्योहार है, इस बार पूरे देश में अभूतपूर्व उत्साह के साथ मनाया जाएगा।कनफ़ेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स ( कैट) के एक अनुमान अनुसार, इस त्यौहार के दौरान 25,000 करोड़ रुपये से अधिक का व्यापार होने की उम्मीद है, जिसमें भारतीय व्यापारियों ने पूरी तरह से चीनी उत्पादों का बहिष्कार किया है।

चाँदनी चौक से सांसद तथा कैट के राष्ट्रीय महामंत्री श्री प्रवीन खंडेलवाल ने कहा कि गणेश चतुर्थी विशेष रूप से महाराष्ट्र, कर्नाटक, गुजरात, आंध्र प्रदेश, तेलंगाना, मध्य प्रदेश, तमिलनाडु और गोवा जैसे क्षेत्रों में महत्वपूर्ण आर्थिक गतिविधि को बढ़ावा देती है, जो देश में सनातन अर्थव्यवस्था के महत्व और योगदान को स्थापित करती है।

कैट के राष्ट्रीय अध्यक्ष बीसी भरतिया ने कहा कि इन राज्यों में स्थानीय व्यापारियों द्वारा किए गए सर्वेक्षण के बाद यह जानकारी मिली है कि त्यौहार के लिए अनुमानित 20 लाख से अधिक गणेश पंडाल लगाए गए हैं। भरतिया ने बताया कि अकेले महाराष्ट्र में 7 लाख से अधिक पंडाल लगाए गए हैं, इसके बाद कर्नाटक में 5 लाख, आंध्र प्रदेश, तेलंगाना और मध्य प्रदेश में 2 लाख प्रत्येक और शेष 2 लाख पूरे देश में हैं। यदि प्रत्येक पंडाल पर न्यूनतम 50,000 रुपये का खर्च भी माना जाए, जिसमें सेटअप, सजावट, ध्वनि प्रणाली, गणेश प्रतिमा, फूल आदि शामिल हैं, तो यह आंकड़ा अकेले 10,000 करोड़ रुपये से अधिक हो जाता है।

श्री खंडेलवाल ने कहा कि पंडालों पर खर्च की गई राशि के अलावा, त्योहार के इर्द-गिर्द बना व्यापारिक पारिस्थितिकी तंत्र कई उद्योगों और स्थानीय व्यवसायों को भी शामिल करता है। केवल गणेश प्रतिमाओं का व्यापार 500 करोड़ से अधिक का होता है। फूल, माला, फल, नारियल, धूप और अन्य पूजन सामग्री की बड़े पैमाने पर बिक्री होती है, जिसकी कुल राशि भी 500 करोड़ के करीब होती है। मुख्य रूप से मोदक, जो भगवान गणेश से जुड़े मीठे पकवान हैं, की मांग में वृद्धि होती है। मिठाई की दुकानों और घरेलू व्यवसायों की बिक्री में 2000 करोड़ रुपये से अधिक की वृद्धि देखी जाती है। इसके अलावा, परिवारों द्वारा बड़े समारोहों और भोजन के आयोजन के कारण कैटरिंग और स्नैक व्यवसायों में लगभग 3000 करोड़ रुपये का व्यापार होता है।

इस त्योहार सीजन में पर्यटन एवं परिवहन व्यवसाय में भारी बढ़ोतरी होती है (भूपेंद्र जैन)

कैट के राष्ट्रीय संगठन मंत्री एवं मध्य प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र जैन ने कहा कि पर्यटन और परिवहन व्यवसाय को भी बड़ा बढ़ावा मिलता है क्योंकि गणेश चतुर्थी के दौरान विभिन्न क्षेत्रों से भक्त आकर्षित होते हैं, जिससे स्थानीय पर्यटन को बढ़ावा मिलता है। यात्रा कंपनियों, होटलों और परिवहन सेवाओं (जैसे बस, टैक्सी, ट्रेन) की मांग में वृद्धि देखी जाती है, जिसका कारोबार 2000 करोड़ रुपये से अधिक हो सकता है। रिटेल और मर्चेंडाइज की बात करें तो त्योहार से संबंधित वस्त्र, आभूषण, घर की सजावट और उपहार वस्तुओं की बिक्री भी 3000 करोड़ रुपये तक पहुंच सकती है।

श्री जैन ने कहा कि कचरा प्रबंधन और पर्यावरणीय सेवाओं को भी बड़ा बढ़ावा मिलता है। पर्यावरण के अनुकूल प्रथाओं के प्रति बढ़ती जागरूकता के साथ, कचरा प्रबंधन व्यवसायों की मांग में वृद्धि देखी जाती है, जैसे कृत्रिम टैंकों में मूर्ति विसर्जन और सजावटी सामग्रियों का पुनर्चक्रण। बड़े पैमाने पर सार्वजनिक आयोजनों के आयोजन से इवेंट मैनेजमेंट कंपनियों को भी व्यापार में बढ़ावा मिलता है। वे लॉजिस्टिक्स, सुरक्षा, भीड़ प्रबंधन और स्थानीय अधिकारियों के साथ समन्वय जैसे कार्यों को संभालते हैं, यह क्षेत्र लगभग 5000 करोड़ रुपये का योगदान कर सकता है।

रक्षाबंधन से शुरू हुआ त्योहारों का यह सीजन, जो गणेश चतुर्थी, नवरात्र, दशहरा, करवा चौथ, दिवाली, छठ पूजा और इसके बाद के विवाह सीजन तक जारी रहेगा, भारतीय अर्थव्यवस्था को एक तेज गति वाली यात्रा पर ले जाएगा, जिसमें सनातन अर्थव्यवस्था का महत्वपूर्ण योगदान होगा।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button